बाढ़
एक सुनहरी रेखा खींचचपल दामिनी नभ के बीचनभ-वसुधा से रिश्ता जोड़सघन कालिमा देती तोड़|ले आती बारिश की धारजिसमें हुलसे घर संसार।समझ न पाती वह यह बातबाढ़ बुलाती अति बरसात।नदियाँ रूप धरें विकरालहहराती सी उनकी...
View Articleड्रैगन को देना है मात
मानचित्र पर बिछी बिसात,ड्रैगन को देना है मात।सीमा से है उठी पुकार, देना अपना सब कुछ वार।भू भारत का लेगा छीन, ऐसी सोच न पाले चीन।बढ़ते पग देंगे हम रोक, सीमा पर ही देंगे ठोक।रखकर के नीयत में खोट, जो भी...
View Articleहिन्दी पखवारा की रचना -1-दो का महत्व
हिन्दी पखवारा की रचना -1दो का महत्व-------------------दोनों तट गर मिल जायेंनदिया बहेगी कैसेअगर नहीं हों सुख दुःखजीवन चलेगा कैसेओर छोर के बीच मेंधागे का अस्तित्व हैपति पत्नी के मध्य मनुअटका स्वामित्व...
View Articleछन्न पकैया
छन्न पकैयाछन्न पकैया छन्न पकैया, बिटिया घर का गहना।लगती है गुड़िया सी प्यारी, भाई का है कहना।।१छन्न पकैया छन्न पकैया, खूब खिले गुलमोहर।कान्हा जी के आ जाने से, गूँज उठा है सोहर।।२छन्न पकैया छन्न पकैया,...
View Articleहिन्दी पखवारा की रचना-२ हाइकु
बहुत दिनों बाद हाइकु1पचपन मेंबचपन की लोरीपोते- पोतियाँ।2लम्बी हैं राहेंदामन में सुमनपग में छाले।3तरुणावस्थासपनीले नयननभ का चाँद।4जेठ की धूपसुर्ख गुलमोहर नव उल्लास।5आयी बारिशनभ और नयनअंतर कहाँ।6हरी...
View Articleहिन्दी पखवारा की रचना -3-ताँका
तांका1भोर का रूपनिखरी हुई धूपमाँ सी छुअनचिड़ियों की चहकगुलाबों की महक।2दीये की जिदआँधियों से सामनामद्धिम ज्योतिप्रकाश की कामनालौ को सहेज रही3हरसिंगारसमर्पण की चाहझरी पँखुरीभर कर अँजुरीशिव पूजन चली।4चली...
View Articleकर्णेभिः 6-लघुकथा- किराया- डॉ कमल चोपड़ा- वाचन-ऋता शेखर मधु
प्रिय मित्रों...वीडियो पर आपके सुझाव, प्रोत्साहन , समीक्षा एवं आलोचना हमारे लिए बहुत महत्वपूर्ण है|
View Articleकुछ अच्छा भी-लघुकथा
कुछ अच्छा भी=========नीरज को दोस्ती करना अच्छा लगता था। सिर्फ दोस्ती ही नहीं करता , यदा कदा घर में दोस्तों को बुलाकर पार्टियाँ भी दिया करता।उसकी पत्नी जूही सहर्ष पार्टियों का इंतेज़ाम करती। नीरज का दस...
View Articleनवरात्रि विशेष-पुरस्कार प्राप्त गीत- अम्बिके जगदम्बिके- गीतकार-ऋता शेखर-स्वर-...
सभी मित्रों को नवरात्रि की हार्दिक शुभकामनाएँ| मेरे इस गीत को फेसबुक के एक बड़े उत्कृष्ट समूह में दूसरा स्थान प्राप्त हुआ है|एकल काव्य पाठ मंच का दशकोत्सव समारोह सम्पन्न...
View Articleकर्णेभिः 11-लघुकथा "घर"- शशि पाधा #ऋता शेखर 'मधु' #लघुकथा #शशि पाधा
कर्णेभिः का ग्यारहवाँ अंक प्रकाशितआज की लघुकथा-घरलघुकथाकार- आदरणीया शशि पाधा जीसमीक्षा एवं वाचन- ऋता शेखर 'मधु'
View Articleचार लघुकथाएँ
१.कब तक"अरे आभा, इतनी बुझी बुझी क्यों है? अभी सिर्फ महीना भर शादी को हुए हैं। लाइफ एन्जॉय करना चाहिए, पर तेरे चेहरे पर तो।""माला, लड़कियां लाइफ एन्जॉय कब और कैसे करें...शादी के पहले माँ ने सास का नाम ले...
View Articleकर्णेभिः 13 तथास्तु- कंचन अपराजिता, स्वर- ऋता शेखर मधु
साहित्य मधु की प्रस्तुतिकर्णेभिः- लघुकथा वाचन की रविवारीय शृंखला-13 (15/11/2020)लघुकथा- तथास्तुलेखिका- कंचन अपराजितास्वर, समीक्षा व वाचन –ऋता शेखर ‘मधु’कथा सौजन्य- लघुकथा के परिंदेसम्पर्क सूत्र-...
View Articleकर्णेभिः 14 एक आसमान- गिरिजा कुलश्रेष्ठ-वाचन-ऋता शेखर मधु
साहित्य मधु की प्रस्तुतिकर्णेभिः- लघुकथा वाचन की रविवारीय शृंखला-१४ (२२/११/२०२०)लघुकथा- नया आसमानलेखिका- गिरिजा कुलश्रेष्ठस्वर, समीक्षा व वाचन –ऋता शेखर ‘मधु’सम्पर्क सूत्र- madhur.sahitya@gmail.comअभी...
View Articleक्षणिकाएँ
क्षणिकाएँ------------- १.आँधियाँ चलींदो पँखुरी गुलाब कीबिखर गईं टूटकरमन पूरे गुलाब की जगहउन पँखुरियों पर अटका रहा|2रेगिस्तान मेंआँधियों ने मस्ती कीरेत से भर गई थीं आँखेंआँखों पर होने चाहिये थेचश्मे3हवा...
View Articleकर्णेभिः 16- पिघली मोम - महिमा श्रीवास्तव वर्मा-वाचन- ऋता शेखर
साहित्य मधु की प्रस्तुतिकर्णेभिः- लघुकथा वाचन की रविवारीय शृंखला-१६ (०६/१२/२०२०)लघुकथा- पिघली मोमलेखिका- महिमा श्रीवास्तव वर्माकथा सौजन्य- शारदेय प्रकाशन द्वारा प्रकाशित लघुकथा संग्रह ‘काफ़िला’ सेस्वर,...
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